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कानपुर: पैगंबर पर टिप्पणी के चलते भड़की थी हिंसा, पुलिस ने दायर की पहली चार्जशीट; जफर हाशमी, बाबा बिरयानी सहित 47 नामजद

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Kanpur Violence: भाजपा की निलंबित प्रवक्ता नूपुर शर्मा द्वारा पैगंबर पर विवादास्पद टिप्पणी के बाद कानपुर में 3 जून को विरोध प्रदर्शन हुआ, जिसमें शहर के कुछ हिस्सों में हिंसा भड़क गई थी। प्रशासन ने कार्रवाई करते हुए 61 आरोपियों को पकड़ा था और हिंसा की जांच के लिए एक विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया था। अब इसी एसआईटी ने 47 लोगों के खिलाफ अपनी पहली चार्जशीट दायर की है।

कानपुर हिंसा में SIT ने दायर की पहली चार्जशीट

एसआईटी द्वारा दायर की गई चार्जशीट में हिंसा के “मुख्य आरोपी” कहे जाने वाले जफर हयात हाशमी, कारोबारी मुख्तार अहमद बाबा और हाजी मोहम्मद वसी को चार्जशीट में नामित किया गया है। कानपुर में 3 जून को हुई हिंसा के दौरान बेकनगंज पुलिस स्टेशन में कुल तीन प्राथमिकी (एफआईआर) दर्ज की गईं थीं। चार्जशीट में सभी नामजद 47 आरोपी इस समय जेल में हैं।

कानपुर JCP बोले- जल्द ही दायर करेंगे दो अन्य चार्जशीट

संयुक्त पुलिस आयुक्त (कानपुर) आनंद प्रकाश तिवारी ने कहा, हम जल्द ही शेष दो प्राथमिकी(FIR) में चार्जशीट दाखिल करेंगे। पुलिस ने कहा कि चार्जशीट में जिन 47 लोगों के नाम हैं, उनमें से लगभग 20 को साजिश में शामिल पाया गया है। ज्ञात हो कि कानपुर हिंसा के मुख्य आरोपी जफर हयात हाशमी को लखनऊ से उसके तीन साथियों के साथ गिरफ्तार किया था।

‘मुख्य आरोपी’ हाशमी पर लगा है रासुका (NSA)

जांच के दौरान, पुलिस ने दावा किया कि तीन जून की हिंसा की साजिश में बाबा बिरयानी फ़ूड चेन के मालिक मुख्तार बाबा और कानपुर के प्रमुख बिल्डर हाजी मोहम्मद वासी के शामिल होने के सबूत मिले हैं। इन्हें गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में भेजा गया है। गौरतलब है कि पिछले महीने ही पुलिस ने ‘मुख्य आरोपी’ हाशमी पर रासुका (NSA) लगाया था।

कोर्ट ने SIT की मांग पर 6 लोगों को किया रिहा

इसी कड़ी में हिंसा में शामिल मुख्तार अहमद बाबा, हाजी मोहम्मद वसी, अकील खिचड़ी और शफीक सहित चार अन्य आरोपियों के खिलाफ यूपी गैंगस्टर एक्ट भी लगाया गया है। बता दें कि, बीते सप्ताह एसआईटी की मांग पर अदालत ने 6 लोगों को जेल से रिहा कर दिया था, क्योंकि पुलिस ने दावा किया था इनके खिलाफ प्रदर्शन/हिंसा में शामिल होने के सबूत नहीं मिले हैं।
 

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