Uttarkashi Tunnel Rescue : उत्तरकाशी के सिल्क्यारा सुरंग (Silkyara Tunnel Rescue) में फंसे मजदूरों को बाहर निकालने के लिए चल रहे बचाव अभियान में एक के बाद एक रुकावटें पैदा हो रही हैं। शनिवार को सुरंग में ड्रिलिंग के काम पर रोक लगा दी गई है।
रेस्क्यू के दौरान पहाड़ दरकने की आई थी आवाज
दरअसल, मजदूरों को बाहर निकालने के लिए बनाई जा रही सुरंग में पाइप बिछाने के दौरान अचानक सुरंग के भीतर से पहाड़ दरकने की तेज आवाज सुनाई दी। इससे रेस्क्यू टीम (Uttarkashi Tunnel Rescue) और अन्य व्यक्तियों में हड़कंप मच गया। जल्दी जल्दी सभी बाहर निकले और ड्रिलिंग का काम रोक दिया गया।
एक अधिकारी ने बताया कि सिल्क्यारा सुरंग के अंदर फंसे 40 श्रमिकों तक पहुंचने के लिए चल रहा ड्रिलिंग कार्य शनिवार को रोक दिया गया है, क्योंकि बचाव दल मलबे में 25 मीटर तक घुस गए थे।
ड्रिलिंग का कार्य फिलहाल निलंबित
सुरंग बनाने वाली कंपनी एनएचआईडीसीएल के निदेशक अंशू मनीष खुल्को ने कहा कि फंसे हुए श्रमिकों तक पहुंचने के लिए ड्रिलिंग का कार्य फिलहाल निलंबित है। इसे रोकने के पीछे का कारण मशीन की खराबी नहीं है।
अंशू मनीष खुल्को ने बताया कि पिछले तीन दिनों से सुरंग में फंसे मजदूरों को निकालने के लिए पाइपलाइन डालने का काम चल रहा था। अब तक केवल 25 मीटर पाइप बिछाने का काम पूरा हुआ है। लेकिन लगातार जारी रेस्क्यू (Uttarkashi Tunnel Rescue) में अड़चने आ रही हैं।
इंदौर से मंगाई गई एक और मशीन
रेस्क्यू ऑपरेशन पर जानकारी देते हुए कंपनी के अधिकारियों ने बताया कि सुरंग के 40 मीटर तक कंक्रीट छिड़काव किया जा रहा है। साथ ही खुदाई का काम चल रहा है और 10 मीटर पर एक गुफा बन गई है। यहां पाइप डाली जा रही है जिससे फंसे हुए मजदूरों को बाहर निकाला जाएगा। अधिकारी ने बताया कि मध्य प्रदेश के इंदौर से एक और हेवी-ड्यूटी ड्रिलिंग मशीन मंगाई गई है, जो आज (शनिवार) पहुंच जाएगी।
7वें दिन भी जिंदगी के लिए लड़ रहे मजदूर
गौरतलब है कि ये सभी मजदूर दीपावली से ही इस टनल में फंसे हुए हैं। 6 दिनों से मजदूर यहां जिंदगी के लिए लड़ रहे हैं। आज सातवें दिन भी इन्हें सुरक्षित निकालने के लिए कोशिश लगातार जारी है।