Parenting Tips: बच्चों को सच और झूठ का अंतर समझाना किसी चुनौती से कम नहीं है। बढ़ती उम्र के साथ बच्चे बुरी संगत में आ जाते हैं और अक्सर झूठ बोलने लगते हैं। हमें उनके झूठ के बारे में तभी पता चलता है जब वे पकड़े जाते हैं। यह माता-पिता के लिए चिंता का विषय बन जाता है जब उन्हें पता चलता है कि उन्हें रोजाना झूठ बोलने की आदत हो गई है। ऐसे में माता-पिता परेशान हो जाते हैं कि वे अपने बच्चों की इस आदत को कैसे सुधारें। अगर आपका बच्चा भी झूठ बोलने लगा है तो माता-पिता इन टिप्स की मदद से बच्चे की आदत सुधार सकते हैं।
झूठ बोलने की आदत किसी के लिए भी अच्छी नहीं होती, लेकिन फिर भी हमें न चाहते हुए भी कई बार झूठ बोलना पड़ता है। लेकिन अगर बच्चे को बचपन से ही झूठ बोलने की आदत हो गई है तो समय रहते इस आदत को सुधारना जरूरी है।
1. झूठ बोलने का कारण समझें
अगर आप अपने बच्चे की झूठ बोलने की आदत को सुधारना चाहते हैं तो सबसे पहले यह समझें कि वह झूठ क्यों बोल रहा है। एक बार जब आपको कारण पता चल जाएगा, तो आप बेहतर समाधान ढूंढ पाएंगे। अक्सर बच्चे कोई बात छिपाते हैं या उसके बारे में झूठ तभी बोलते हैं जब उन्हें लगता है कि इसकी वजह से उन्हें डांट पड़ सकती है। ऐसे में बच्चे उस बात को छिपाना ही बेहतर समझते हैं।
2. सच बोलने के लिए प्रोत्साहित करें
अगर आपको पता चल गया है कि आपका बच्चा बात-बात पर झूठ बोलने लगा है तो उस पर चिल्लाने या डांटने की बजाय उसे प्यार से समझाएं। साथ ही उन्हें आश्वस्त करें कि आप उनकी बात सुनेंगे और उन्हें डांटेंगे नहीं या उन पर गुस्सा नहीं करेंगे। बच्चों को घर पर खुशनुमा माहौल दें। उन पर बेवजह चिल्लाना उन्हें आपसे दूर कर सकता है।
3. झूठ और सच में अंतर स्पष्ट करें।
आपको अपने बच्चे से सच बोलने और झूठ बोलने के फायदे और नुकसान के बारे में खुलकर बात करनी चाहिए। उन्हें यह अहसास कराएं कि अगर उनसे झूठ बोला जाए तो उन्हें कैसा महसूस होगा। आप कहानियों के माध्यम से बच्चों को अपनी बात समझा सकते हैं।