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भारत ने की अर्मीनिया के साथ बड़ी डील, भड़क गया पाकिस्तान का दोस्त अजरबैजान, दे दी बड़ी चेतावनी

हाल ही में भारत और फ्रांस ने मिलकर आर्मीनिया के साथ हथियारों की सबसे बड़ी डील की है। इस डिफेंस डील को लेकर आर्मीनिया का पड़ोसी देश अजरबैजान भड़क गया है और निशाना साधते हुए भारत और फ्रांस को चेतावनी दी है।
भारत के इस डील से भड़का अजरबैजान
दरअसल अजरबैजान और अर्मीनीया के बीच जमीनी विवाद को लेकर दोनों की आपस में दुश्मनी है और नागोर्नो-काराबाख इलाके को लेकर दोनों देश आपस में लड़ भी चुके हैं। अजरबैजान एक मुस्लिम देश है जिसकी लड़ाई अपने पड़ोसी देश आर्मीनिया के साथ चल रही है। भारत आर्मीनिया को हथियारों की सप्लाई करता है।
पाकिस्तान करता है अजरबैजान को हथियार सप्लाई
वहीं दूसरी ओर मुस्लिम देश तुर्की और पाकिस्तान अजरबैजान को हथियारों देते हैं। इन सबके बीच अजरबैजान के राष्ट्रपति इल्हाम अलीयेव ने आर्मनिया को लेकर भारत और फ्रांस पर हमला बोला है। अजरबैजान के राष्ट्रपति ने साफ कहा है कि अर्मीनिया को हथियार देने वाले देश आग में घी डालने का काम कर रहे हैं। राष्ट्रपति इल्हाम अलीयेव ने कहा कि ये देश आर्मीनिया में भ्रम पैदा कर रहे हैं कि इन हथियारों दम पर वो काराबाख को वापस ले सकते हैं।
भारत ने अर्मीनिया के साथ की ये डील
बता दें कि आर्मीनिया ने फ्रांस और भारत के साथ एयर डिफेंस सिस्टम और बख्तरबंद वाहनों सहित कई प्रकार के हथियारों की डील की है। अजरबैजान के राष्ट्रपति अलीयेव ने चेतावनी दी है और कहा कि इस डील और हथियार आपूर्ति से क्षेत्र में एक नया युद्ध शुरू हो सकता है। रिपोर्ट्स के मुताबिक आर्मीनिया भारत से MArG 155 स्व-चालित हॉवित्जर खरीदेगा।
फ्रांस देगा मिसाइल
फ्रांस आर्मीनिया को कम दूरी की सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइलों की डिलीवरी भी करेगा। इसी साल अक्टूबर में आर्मीनिया के एक सीनियर अधिकारी हथियार डील के संबंध में चर्चा करने के लिए भारत आए थे। भारत ने पहली खेप में पिनाका मल्टी बैरल रॉकेट लॉन्चर, एंटी-टैंक मिसाइल, रॉकेट और गोला-बारूद भेजा था।
इस वजह से दोनों देशों के बीच दुश्मनी
दोनों देशों की बीच ये दुश्मनी कई दशकों से है। आर्मीनिया और अजरबैजान दोनों ही देश 1991 में सोवियत संघ के टूटने के बाद से बने हैं। इन दोनों के बीच विवाद 1980 के दशक से ही है। ये विवाद नागोर्नो-काराबाख इलाके पर कब्जे को लेकर है। सोवियत संघ के टूटने के बाद से नागोर्नो-काराबाख अजरबैजान के कब्जे में है। अजरबैजान एक मुस्लिम देश है, जबकि आर्मेनिया ईसाई बहुल राष्ट्र है। नागोर्नो-काराबाख इलाका भी ईसाई बहुल क्षेत्र है।

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