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Diwali से पहले हो जाएं सावधान ! वरना भुगतना पड़ सकता है नुकसान !

त्योहारों का सीजन शुरू होते ही बाजारों में चहल-पहल बढ़ जाती है। अब दिवाली (Diwali) और छठ पूजा (Chhath Pooja) भी आने वाली है। लोग अभी से घर को सजाने-संवारने की तैयारी में जुट गए हैं। लेकिन त्योहारों के टाइम में सबसे ज्यादा चौकन्ने रहने की जरूरत है क्योंकि यही तो समय है जब सभी मिलावटखोर सक्रिय हो जाते है। दूध, दही, घी, पनीर यहां तक की मिठाइयों पर लगने वाला सिल्वर फॉइल भी मिलावट (Adulteration) का शिकार हो जाता है। दुकानदार अपने सामान की क्वांटिटी बढ़ाने के लिए दूध से बने प्रोडक्ट्स (Milk Product Adulteration) में मिलावट कर देते हैं।

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त्योहारों के समय खाद्य एवं सुरक्षा विभाग भी इन मिलावटखोरों पर शिकंजा कसने की तैयारी में रहती है। लेकिन आज कल हर चौक चौराहे पर डेयरी और मिठाइयों की दुकानें हैं ऐसे में सभी पर छापा मारना बहुत मुश्किल है। ऐसे में आप खुद ही घर बैठे इन मिल्क प्रोडक्ट्स की जांच कर सकते हैं। इस आर्टिकल के जरिए हम आपको कुछ ऐसे वैज्ञानिक     तरीके बताने वाले हैं जिससे आप आसानी से मिलावट का पता लगा सकते हैं। इन तरीकों को विशेषज्ञ और भारतीय खाद्य संरक्षण एवं मानक प्राधिकरण ने बताएं हैं।

मिलावटखोर कम दूध को ज्यादा बनाने के लिए उसमें पानी अधिक (milk product adulteration) मात्रा में मिलाते हैं। वही इसे खराब होने से बचाने के लिए इसमें सोडा और डिटर्जेंट भी मिलाया जाता है। यहां तक की प्रोटीन की मात्रा का फेक डिटेक्शन देने के लिए दूध में यूरिया मिलाकर लोगों की जान से खिलवाड़ किया जाता है।

दूध की जांच करने के तरीके (Milk Product Adulteration)

त्योहारों के सीजन में अगर आपको दूध की जांच करनी है तो आप दूध की एक बूंद को एक चिकने बोर्ड या थाली पर डालें फिर उसे तिरछा कर दें। अगर दूध में पानी मिला होगा तो वह बर्तन पर बिना निशान छोड़े बह जाएगा। वही दूध शुद्ध होगा तो वो अपनी जगह पर रहेगा या बहते समय पीछे निशान छोड़ेगा।

दूध में डिटर्जेंट की जांच (Detergent in Milk)

अगर दूध में डिटर्जेंट की जांच करनी है तो आप 5 से 10 मिनट दूध ले और चम्मच से उसे अच्छी तरह हिलाएं। अगर दूध में डिटर्जेंट होगा तो उसके ऊपर झाग की मोटी परत दिखेगी।

स्टार्च की जांच (Starch in Milk & Milk Products)

मिलावटी दूध का को गाढ़ा कर इसका पनीर और खोया बनाने के लिए मिलावट खोर इसमें अरारोट और मैदा जैसे स्टार्च का इस्तेमाल करते हैं। खोया, पनीर आदि की मात्रा बढ़ाने के लिए भी इसका इस्तेमाल किया जाता है। इसकी जांच के लिए आप दूध, खोया या पनीर को 5 मिलीलीटर पानी में उबालें और ठंडा करके इसमें आयोडीन की 2-4 बूंदे मिलाएं। अगर इनमें स्टार्च होगा तो प्रोडक्ट का रंग नीला हो जायेगा।

घी-मक्खन की जांच (Potato in Ghee or Butter)

घी और मक्खन की क्वांटिटी बढ़ाने के लिए मिलावटखोर इसमें आलू और शकरकंद का इस्तेमाल करते हैं। अगर आपको इसकी जांच करनी है तो आप एक चम्मच घी या मक्खन लें, उसमें 2-3 बूंदे आयोडीन की मिलाएं। अगर इसका भी रंग नीला हो जाता है तो इसमें स्टार्च के मिलावट की गई है।

तेल की जांच (Chemical in Cooking Oil)

मिलावटखोर तेल में ट्राई ऑर्थो क्रिसिल फॉस्फेट की मिलावट की करते है। यह एक जहरीला केमिकल होता है जिसका इस्तेमाल कीटनाशक में किया जाता है। इसकी जांच करने का भी एक आसान तरीका है। इसकी जांच के लिए आप 2 ml तेल ले, उसमें पीला मक्खन मिलाएं। अगर इसका रंग तुरंत लाल हो जाता है तो इसका मतलब इसमें ट्राई ऑर्थो क्रिसिल फास्फेट की मिलावट हो सकती है।

शहद के साथ चीनी का भी शिकार (Aulteration in Honey & Sugar)

शहद और चीनी भी मिलावट की जद में है। शहर की मात्रा बढ़ाने के लिए मिलावट खोर इसमें चीनी मिलाते हैं। लेकिन यह चीनी भी मिलावट का शिकार हो गई है। चीनी और गुड़ की मात्रा बढ़ाने के लिए इसमें चॉक पाउडर का इस्तेमाल किया जाता है।

शहद की जांच (Sugar in Honey)

शहर में चीनी की मिलावट जानने के लिए एक बूंद शहद पानी में डालें। अगर शहर शुद्ध होगा तो यह तुरंत पानी में नहीं घुलेगा। वही मिलावट वाला शहद पानी में डालते ही गायब हो जाएगा। इसके अलावा जांच का दूसरा तरीका ये है कि आप रूई में थोड़ा शहद लेकर इसे माचिस से जलाएं, अगर चटचटाहट की आवाज के साथ शहद जलता है तो ये शुद्ध है। वहीं शहद में मिलावट होगी तो उसे जलने से रोकेगी।

चीनी या गुड़ की जांच (Chalk Powder in Sugar or Jaggery)

चीनी या गुड में मिलावट का पता करने के लिए एक साफ कांच का गिलास लें। 10 ग्राम प्रोडक्ट पानी में घोले। अगर चीनी में चौक पाउडर मिला होगा तो कुछ देर बाद यह गिलास के तल पर बैठ जाएगा, वही शुद्ध चीनी पानी में पूरी तरह घुल जाएगी।

सिल्वर फॉइल की जांच (Aluminium Foil in Silver Foil)

मिठाइयों को सजाने के लिए इस्तेमाल होने वाला सिल्वर फाइल भी मिलावटखोरों के चंगुल में है। वे चांदी की जगह इसमें एल्यूमीनियम फॉइल का इस्तेमाल करते हैं। इसकी जांच करने के लिए थोड़ा सा फॉइल अपनी उंगलियों पर रखकर अच्छे से मसलें। शुद्ध सिल्वर फाइल टूटकर पाउडर की तरह हो जाएगा। वहीं अल्युमिनियम फॉयल छोटे-छोटे टुकड़े में टूटेगी।
इसका दूसरा तरीका ये है कि आप एक चम्मच में फॉइल डालें और इसे गरम करें, सिल्वर फॉइल छोटी छोटी बूंदों की तरह दिखेगी, वहीं एल्यूमीनियम फॉइल रख छोड़ेगी।

थोड़े से मुनाफे के लिए कुछ दुकानदार दूसरों की जिंदगी के साथ खिलवाड़ करते हैं। बताए गए इन तरीकों से आप खुद के साथ साथ अपने परिवार को भी इन मिलावटखोरों से बचा सकते हैं।

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