Agra News: ताजमहल के पूर्वी गेट के पास स्थित एक मंदिर में एक ईरानी पर्यटक द्वारा नमाज पढ़ने की घटना ने स्थानीय समुदाय और प्रशासन में हलचल मचा दी है। यह घटना उस समय हुई जब पर्यटक ने अनजाने में मंदिर के परिसर में नमाज अदा की। जैसे ही स्थानीय लोगों को इसकी जानकारी मिली, उन्होंने पुलिस से शिकायत की और मामले को गंभीरता से लिया गया। इस घटना ने धार्मिक स्थलों पर नियमों के पालन की आवश्यकता पर फिर से जोर दिया है। ईरानी नागरिक ने सोशल मीडिया पर माफी मांगते हुए कहा कि उनकी इस कार्रवाई का कोई सांप्रदायिक उद्देश्य नहीं था।
ताजमहल के पास स्थित इस मंदिर में ईरानी नागरिक की नमाज पढ़ने की घटना से स्थानीय लोगों में नाराजगी फैल गई। स्थानीय निवासियों का कहना है कि इस तरह के धार्मिक स्थलों पर सभी को नियमों का पालन करना चाहिए, चाहे वह किसी भी धर्म या देश से क्यों न हों। जब स्थानीय लोगों ने इस घटना के बारे में सुना, तो उन्होंने Agra पुलिस को सूचित किया, जिसके बाद प्रशासन ने मामले को गंभीरता से लिया और जांच शुरू की।
आगरा में ताजमहल के पूर्वी गेट के पास ईरानी पर्यटकों ने नमाज पढ़ी। लोगों ने आपत्ति जताई, हंगामा किया, पासपोर्ट चेक किया। विदेशी पर्यटकों ने माफी मांगी। कहा कि साफ जगह दिखने की वजह से उन्होंने नमाज पढ़ ली थी। वो किसी की धार्मिक भावनाओं को आहत नहीं करना चाहते थे। @madanjournalist pic.twitter.com/0RZweH2ewt
— Sachin Gupta (@SachinGuptaUP) November 4, 2024
ईरानी पर्यटक ने घटना के बाद सोशल मीडिया पर एक वीडियो जारी किया, जिसमें उन्होंने अपनी गलती के लिए माफी मांगी। उन्होंने कहा कि उन्हें यह जानकारी नहीं थी कि यह स्थान एक हिंदू मंदिर है और उन्होंने अनजाने में वहां नमाज पढ़ ली। उन्होंने अपने माफीनामे में यह स्पष्ट किया कि उनकी इस कार्रवाई में कोई भी धार्मिक या सांप्रदायिक भावना नहीं थी। उन्होंने कहा, “अगर मुझे पता होता कि यह एक मंदिर है, तो मैं वहां ऐसा नहीं करता।”
Agra पुलिस प्रशासन ने भी इस मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच शुरू कर दी है। अधिकारियों का कहना है कि पर्यटक का वीडियो माफी उनकी मंशा की सफाई देता है, लेकिन यह देखना होगा कि इस घटना में मंदिर के नियमों का उल्लंघन हुआ है या नहीं। पुलिस यह सुनिश्चित करने की कोशिश कर रही है कि इस घटना से किसी भी समुदाय की भावनाएं आहत न हों और धार्मिक सौहार्द बना रहे।
इस घटना के बाद Agra के मंदिरों और धार्मिक स्थलों पर पर्यटकों के लिए विशेष निर्देशों को सख्ती से लागू करने की मांग उठने लगी है। स्थानीय लोगों का मानना है कि सभी को धार्मिक स्थलों पर नियमों का पालन करना चाहिए, जिससे सांप्रदायिक सद्भाव बना रहे और सभी समुदायों के बीच आपसी सम्मान बढ़ सके।