सोशल मीडिया के बहुत सारे फायदे है जिसके माध्यम है से हम लाखों लोगों तक अपनी बात पंहुचा सकते है लेकिन इसके बहुत सारे नुकसान भी देखने को मिलते है एक ऐसा ही मामला मुजफ्फरनगर के बुढ़ाना थाना क्षेत्र का है जहां पर तीन दिन पूर्व एक आपत्तिजनक पोस्ट के विरोध में मुस्लिम समुदाय के हजारों लोग सड़क पर आ गए थे। उनमें से ही कुछ लोगों ने सड़क पर हंगामा भी किया और कुछ लोगों ने पोस्ट करने वाले आरोपी अखिल त्यागी के आवास पर पथराव किया और उपद्रव भी मचाया। इस मामले में बुढ़ाना पुलिस ने आपत्तिजनक पोस्ट करने वाले अखिल त्यागी को तुरंत गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था इसके बावजूद उपद्रवियों ने उपद्रव मचाया। इस मामले में मुजफ्फरनगर के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक के सख्त निर्देश पर बुढ़ाना थाना प्रभारी आनंद देव मिश्रा ने उपद्रव मचाने वाले 700 से ज्यादा लोगों पर गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज किया था।
पुलिस अधीक्षक ने बताया पूरा मामला
मुजफ्फरनगर के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अभिषेक सिंह ने मंगलवार को एक प्रेस वार्ता कर इस पूरे घटनाक्रम पर जानकारी देते हुए बताया कि इस पूरे मामले में हसनैन, राहिल, आजम, समी कुरैशी, कैफ, उजैफ, जुनैद, काशिफ, मासूम, असद, फैज, इखलाख, समीर, इसरार, रशीद, आस मोहम्मद, नावेद, शमशाद, सैफ उर रहमान कुल 19 लोगों को गिरफ्तार किया हैं। इस पूरे मामले में ए आई एम आई एम नेताओं की भी संदिग्ध भूमिका नजर आई है।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अभिषेक सिंह ने बताया कि कुल 19 लोग गिरफ्तार किए गए हैं। इनमें पांच लोग चिन्हित किए गए हैं जिन्होंने इस पूरी चीज को प्लान किया था। इसमें हसनैन, राहिल, आजम, तारीक और रमीज है। इसमें रमीज ए आई एम आई एम का यूथ जिलाध्यक्ष हैं और आजम ए आई एम आई एम का नगर अध्यक्ष है, अभी रमीज और आजम फरार हैं बाकी तीन लोगों को गिरफ्तार कर लिया गया है।
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शोसल मीडिया पर पोस्ट से हुआ बवाल
इस पूरे प्रकरण में व्हाट्सएप और अन्य सोशल मीडिया का इस्तेमाल हुआ था। जिसमें एआइएमआइएम का विधानसभा ग्रुप है उसमें भी ऑडियो वायरल किए गए थे कि अल्लाह की शान में गुस्ताखी हुई है और लोग वहां इकट्ठा हो और प्रशासन और पुलिस पर अनुचित दबाव बनाएं। इसमें जब लोगों को समझा कर वापस भेजा जा रहा था तो हसनैन ने अपनी लीडरशिप में अखिल की दुकान पर पथराव किया था। इसके साथ जो लोग जुड़े हुए थे उन्हें भी चिन्हित कर कुल 19 लोगों को गिरफ्तार किया है। अभी भी हम सीसीटीवी फुटेज चेक कर रहे हैं। बाकी सारे एविडेंस कलेक्ट कर रहे हैं। बाकी गिरफ्तारी भी जल्द कर ली जाएगी।
इस पूरे मामले में प्रथम दृष्टया सामने आया कि सौहार्द बिगाड़ने का प्रयास किया गया था। एक इंसिडेंट को लेकर उसमें अफवाह फैलाकर पॉलीटिकल पार्टी के व्हाट्सएप ग्रुप का इस्तेमाल किया गया था।इसमें राशिद नाम का एक यूट्यूबर भी है जो गोल्डन भारत नाम का चैनल चलाता है वह अक्सर इस तरह के कंट्रोवर्शियल टॉपिक जरूर करता है जिससे दो संप्रदाय के लोगों में टकराव हो। उसे भी गिरफ्तार कर लिया गया है।
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